*विद्यापति को आदर्श मानकर मैथिल समाज को एकजुट होना चाहिए-रत्नेश*
*विभिन्न सम्मानों से सम्मानित हुई विभूतियाँ*
*मैथिली सुगम संगीत की हूई मनोहारी प्रस्तुति*
*लोकनृत झिझिया, जट-जटिन ने लोगों को मोहा*
वाराणसी:मैथिल समाज, उत्तर प्रदेश द्वारा आयोजित दो दिवसीय सांस्कृतिक महाकुम्भ महाकवि विद्यापति महोत्सव बीएचयू राजनीति शास्त्र विभाग के पूर्व विभागाध्यक्ष प्रो आर. आर झा कि अध्यक्षता में नागरीप्रचारिणी सभा में धूमधाम से सम्पन्न।
महोत्सव के मुख्य अतिथि रत्नेश झा कार्यपालक निदेशक रेल मंत्रालय नई दिल्ली को संस्था के अध्यक्ष निरसन कुमार झा (एडवोकेट) ने मिथिला संस्कृति के प्रतीक पाग, दुपट्टा, रुद्राक्ष की माला और महाकवि विद्यापति का चित्र संस्था से सम्मानित किया।
समारोह के मुख्य अतिथि भारतीय रेल मंत्रालय नई दिल्ली में कार्यपालक निदेशक रत्नेश झा ने कहा कि महाकवि विद्यापति हिन्दी साहित्य के प्रथम कवि होने के साथ- साथ मैथिली भाषा साहित्य के भी प्रथम कवि थे। मैथिली काव्य के माध्यम से विद्यापति ने मैथिल समाज को जोड़ने का काम किया। विद्यापति जी का कव्य मिथिला के घर घर में गाया और सुनाया जाता है। मैथिल समाज को विद्यापति को आदर्श मानकर जीवन के हर क्षेत्र में संगठित होना चाहिये|समारोह कि अध्यक्षता प्रो आरआर झा ने किया ।अतिविशिष्ट अतिथि के रूप में प्रो ख्यात साहित्यकार डा बुद्धिनाथ मिश्र, प्रो जय शंकर झा ने भी समारोह को सम्बोधित किया।
पद्मविभूषण डा आदित्यनाथ झा ग्लोबल लीडर सम्मान ख्यात समाजसेवी एनआरआई अजय झा, राकेश कुमार गुप्ता राष्ट्रीय अध्यक्ष नेशनल जर्नलिस्ट एसोसिएशन,जीएम यूबीआई गिरिश जोशी और बड़ौदा यूपी बैंक के सर्किल हेड को दिया गया| रत्नेश झा और प्रेमानंद मिश्र को मिथिला रत्न दिया गया| ख्यातिप्राप्त गायिका डा सुष्मिता झा और प्रियंका झा को मिथिला भूषण सम्मान दिया गया दिया गया| यूथ आईकान सम्मान नागरीप्रचारिणी सभा के प्रधानमंत्री व्योमेश शुक्ल,सिवान के ख्यात समाजसेवी डा आलोक कुमार सिंह और सिवान के ही एनजेए के प्रमण्डल अध्यक्ष निरंजन कुमार को भी यूथ आईकान दिया गया|
महोत्सव में सांस्कृतिक कार्यक्रम का शुभारंभ सुप्रसिद्ध पार्श्व गायक विजय कपूर ने समारोह में उपस्थित लोगों को विद्यापति जी द्वारा लिखे गीतों –
(1) पुंज भवन संनिकसल रे रोकल गिरधारी …
(2) सुनु सुन रसिया आब नै बजावूं ….
(3) मिथिला के माटी के करु प्रणाम यौ….
सुप्रसिद्ध पार्श्व गायिका डा सुष्मिता झा ने गे माय चन्द्रमुखी सन गौरी हमर……पिया मोर बालक हम तरूनी गे… जय जय मिथिला धाम…..आदि गीत गायक महोत्सव में उपस्थित दर्शकों कि खूब तालियाँ बटोरी|
दरभंगा बिहार कि लोकप्रिय गायिका शिवानी झा और राम बिहारी झा ने भी अपनी सुरमयी प्रस्तुति से दर्शकों कि खुब तालियाँ बटोरी|
सुरभि,नन्दिनी सिंह और बृष्टि के नृत्य निर्देशन में मिथिला का लोकनृत्य समा-चकेवा, जट-जटिन और झिझिया पर कलाकारों ने भावपूर्ण प्रस्तुति दी।
समारोह का संचालन व संयोजन गौतम कुमार झा ने किया, सह-संयोजन सुधीर चौधरी ने किया| स्वागत निरसन कुमार झा( एडवोकेट) ने किया । धन्यवाद ज्ञापन सचिव दास पुष्कर ने किया। समारोह में मुख्य रूप से अनीशा शाही,सुधीर चौधरी, नटवर झा,भोगेन्द्र झा,नन्द कुमार सिंह,शिवेन्द् पाठक,हरिमोहन पाठक आदि लोग शामिल रहे।
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