(हरिप्रसाद शर्मा) पुष्कर/ अजमेर: पौष मास कृष्ण पक्ष अमावस शुक्रवार 19 दिसंबर सन 2025 को इस वर्ष की आखिरी अमावस रहेगी ।
पंडित कैलाश नाथ दाधीच ने बताया कि पंचांग एवं ज्योतिष गणना के अनुसार देव कार्य पितृ कार्य अमावस्या एक ही दिन रहेगी ।इस दिन पितरों के नाम से दान -पुण्य ,हवन पूजन करने , नारायण बलि ,पिंड प्रधान ,तर्पण -मार्जन से पितृ मोक्ष गति को प्राप्त होकर जनमानस को आशीर्वाद प्रदान करते हैं ।
मलमास की अमावस होने से तिल का दान तेल के मीठे पकोड़े नमकीन पकोड़े दान करने से सूर्य भगवान प्रसन्न होते हैं पंडित दाधीच ने कहा कि ब्रह्मा के ब्रह्म सरोवर पुष्कर तीर्थ में पितरों के नाम से दान पुण्य करना अक्षय गुना फल लिखा है ।गौ सेवा पशु पक्षी सेवा करना एवं गरीब असहाय विकलांग ,अंधहीन ब्राह्मण को गर्म वस्त्र गरम भोजन दान करना सर्वश्रेष्ठ बताया है ।
उन्होंने कहा कि वृक्ष लगाना ,पीपल का पूजन एवं विष्णु भगवान की पूजन करना परिवार के लिए सुख समृद्धि का श्रेष्ठ योग माना गया है ।
जल दान दूध दही एवं दूध से बने हुए पकवान दान करने का शास्त्र में वर्णन है ।
