*पंचकल्याणक महोत्सव में दुनिया की सबसे बड़ी किताब का विमोचन*
*ज्ञान कल्याणक के साक्षी बने श्रद्धालु
*108 फीट ऊंचा जैन ध्वज भी फहराया*जैन धर्म के सिद्धांतों, आत्मबल और अहिंसा का प्रतीक
(हरिप्रसाद शर्मा) अजमेर: श्री जिनशासन तीर्थ क्षेत्र अजमेर मे जैन समाज के तत्वावधान में आयोजित पंचकल्याणक महामहोत्सव के पांचवे दिन ज्ञान कल्याणक उत्सव उल्लास और श्रद्धा के साथ मनाया गया। इस मौक़े पर देश-विदेश से हजारों श्रद्धालु आयोजन में उपस्थित रहे और भगवान के ज्ञान कल्याणक के दिव्य क्षणों के साक्षी बने।कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण जैनाचार्य वसुनंदी जी महाराज के मंगल प्रवचन रहे। साथ ही वहीं पांच दिवसीय पंचकल्याणक महामहोत्सव का अंतिम दिन ऐतिहासिक बन गया, जब विश्व की सबसे बड़ी पुस्तक का विमोचन हुआ।
प्रवक्ता शुभम जैन ने बताया कि राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने ‘खवगराय शिरोमणि’ नामक इस विशाल ग्रंथ का विमोचन किया। यह ग्रंथ 36 फीट लंबा और 24 फीट चौड़ा है, जिसमें जैन संत आचार्य विद्यानंद जी महाराज के जीवन, दर्शन और समाज सेवा का विस्तृत वर्णन है।

इस विशेष ग्रंथ के निर्माण में 1500 स्क्वायर फीट फ्लेक्स, 50 लीटर पेंट और 1000 किलोग्राम लोहे का उपयोग किया गया। कुल 18 पृष्ठों वाले इस ग्रंथ को 15 से 20 कलाकारों और सेवकों ने महज 5 दिनों में तैयार किया। इसे आचार्य विद्यानंद जी की 101वीं जन्म जयंती के उपलक्ष्य में उन्हें समर्पित किया गया।पुस्तक विमोचन के साथ ही तीर्थ क्षेत्र पर 108 फीट ऊंचा जैन ध्वज भी फहराया गया, जो जैन धर्म के सिद्धांतों, आत्मबल और अहिंसा का प्रतीक बनकर आकाश में लहराता रहा। इस भव्य आयोजन में नगर निगम के डिप्टी मेयर नीरज जैन, हेमंत जैन, विनीत जैन, नितिन जैन सहित समाज के अनेक गणमान्यजन उपस्थित रहे।