*(हरिप्रसाद शर्मा) : धार्मिक नगरी पुष्कर में बुधवार को दो अलग-अलग संतों द्वारा पवित्र पुष्कर सरोवर की पूजा अर्चना के पश्चात विधिवत महाआरती की गई । प्राप्त जानकारी के अनुसार के अनुसार प्रधान वराह घाट पर गिरिशानन्द आश्रम के अधिष्ठाता महन्त श्री श्री 1008 स्वामी रामानन्द गिरी के द्वारा अपने अनेकों शिष्यों के साथ महाआरती की गई हैं ।

गिरी ने बताया कि महाआरती का आयोजन सात दिवसीय संगीतमय श्रीमद्भागवत महापुराण के आयोजन के उपलक्ष्य में की गई है । उन्होंने कहा व्यासपीठ से कहा कि भगवान की भक्ति निष्काम होनी चाहिए । कामना से कोई भक्ति नहीं नहीं होती हैं । फलों की प्राप्ति निष्काम भाव से प्राप्त किया जा सकता है । वराह घाट महाआरती में महाराज श्री रामानंद गिरी जीआचार्य रवि , आचार्य पवन शास्त्री , कमल शास्त्री, भगत गण – भागवत प्रधान यजमान कुसुम शर्मा बरनाला,सूर्यभान लखनऊ ,सुनील जी अजमेर, छगन लाल जयपुर, राम बाहदुर सिंह बम्बई, अजय सिंह लखनऊ, रामनिवास जी खेरतल,जबकि दूसरी पवित्र पुष्कर सरोवर की पूजा अर्चना के साथ महाआरती राष्ट्रीय संत डॉ• कृष्णानन्द महाराज द्वारा गणगौर घाट पर की जाएगी । राष्ट्रीय संत कृष्णानन्द महाराज ने बताया कि पवित्र पुष्कर सरोवर की आरती का मुख्य उद्देश्य जगत के कल्याण की मनोकामना को लेकर की जा रही हैं । देश में ख़ुशहाली व अमन चैन रहें ।
सभी में वसुधैव कुटुम्बकम की भावना हो। गणगौर घाट के पुजारी पंडित राहुल पाराशर ने बताया कि राष्ट्रीय संत के साथ सैकड़ों भक्तगण महाआरती में शामिल के लिए दूर दराज़ से सरोवर पर पहुँचे हैं । महाआरती में होने वालों में पं कैलाश दाधीच, वरिष्ठ कांग्रेसी नेता दामोदर मुखिया, जगदीश कुलड़िया, इन्द्र सिंह पंवार,अशोक पाराशर, आरोही,आरवी ,मनन पाराशर, इत्यादि भी महाआरती में शामिल हुए ।