बिहार न्यूज़ लाइव अररिया डेस्क: वरीय संवाददाता अंकित सिंह/अररिया। आमलोगों की हालत में सुधार एवं उनके जीवन स्तर को ऊंचा उठाने के लिए सरकार विभिन्न तरह की जन कल्याणकारी योजना संचालित कर रही है। लेकिन,उनका लाभ आमलोगों को नहीं मिल रहा है। सरकारी कर्मी,पदाधिकारी,जनप्रतिनिधि एवं बिचौलियों के मजबूत गठजोड़ के सामने सारी योजनाएं टांय-टांय फीस एवं धरी की धरी रह जा रही है। एक तरफ प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत पैसे लेकर घर ना बनाने वाले को जेल भेजा जा रहा है और दूसरी तरफ उनसे आबंटन देने के नाम पर धन उगाही की जा रही है। उनका दोहन और शोषण किया जा रहा है।
ऐसी स्थिति में गरीबों को आवास योजना के तहत घर बनाना बहुत ही मुश्किल का काम है। यह वाकया कुशमोल पंचायत के एक आवास लाभुक एवं कुशमोल पंचायत के वर्तमान आवास सहायक विनय कुमार के बीच हो रहे बातचीत के वायरल ऑडियो का है। जिसमें आप सुनेंगे कि किस तरह से दोनों के बीच आवास के दूसरे किस्त का भुगतान के लिए मोलभाव किया जा रहा है। और आवास सहायक द्वारा यह भी कहा जा रहा है कि आपसे जो रुपया मांग रहे हैं इसमें वार्ड सदस्य से लेकर प्रखण्ड के सारे पदाधिकारी को कमीशन देना पड़ता है।
भरगामा प्रखंड क्षेत्र के कुसमोल पंचायत के आवास सहायक विनय कुमार का इस वायरल ऑडियो क्लिप में वे वार्ड नंबर 04 के पीएम आवास योजना के लाभार्थी महेश्वरी ठाकुर को आवास योजना का राशि दिये जाने के एवज में पैसे की मांग कर रहे हैं। इस ऑडियो क्लिप के बारे में जब बीडीओ ममता कुमारी से प्रतिक्रिया मांगी गई तो उन्होंने बताया कि मामला तो गंभीर है और यह जांच का विषय है। जांच में अगर मामला सत्य पाया गया तो आवास सहायकों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी। जबकि इस मामले पर आवास सहायक विनय कुमार से प्रतिक्रिया मांगी गई तो उन्होंने बताया कि मेरे बाइक में पेट्रोल नहीं था। मैं पेट्रोल खर्च का रुपया मांग रहा था। इस संबंध में कुसमोल गांव के लाभार्थी महेश्वरी ठाकुर ने बताया कि 40 हजार रुपये की पहली किश्त उनके खाते में भेजी गई।
अगली किश्त के लिए 10 हजार रुपये बतौर रिश्वत आवास सहायक द्वारा मांग की गई। जिस पर उन्होंने कहा कि वे गरीब हैं,घर भी अधूरा है। रिश्वत की राशि कहां से लाकर दूंगा। इस पर आवास सहायक ने कहा कि अगर आप रुपया नहीं देंगे तो आपका काम नहीं होगा आपको जहां पैरवी लगाना है लगा लीजिए। मैं किसी का भी पैरवी नहीं सुनूंगा। मैं पैसा लूंगा तभी अगला किस्त की राशि आपके खाता में भेजूंगा। वहीं इस संबंध में कुसमोल गांव निवासी पूर्व प्रमुख विजय यादव बताते हैं कि लाभार्थी द्वारा अगर रिश्वत की राशि आवास सहायक के पास जमा नहीं की जाती है तो उनके खाते में एक किश्त की राशि भेजकर छोड़ दी जाती है। जिससे गरीब लाभार्थियों के पास ना तो नया मकान बन पाता है और ना ही पुराना रह पाता है। मजबूर होकर उन्हें रिश्वत देना पड़ता है। उन्होंने यह भी बताया कि आवास सहायक लाभुकों को सरेआम धमकाते हैं कि अगर रिश्वत की राशि नहीं दी तो आवास कैंसिल करवा दिया जाएगा। श्री यादव ने सबसे खास बात तो यह बताया कि जो आवास सहायक को मोटी रकम देते हैं उनका 01 महीने में ही तीनों भुगतान हो जाता है। आगे उन्होंने ये भी कहा कि जो लोग समृद्ध हैं जिनके पास पूर्व से पक्का घर और ट्रैक्टर,मोटरसाइकिल सब कुछ है।
ऐसे लोगों को भी आवास सहायक रिश्वत लेकर आवास योजना का लाभ दिया है। अगर इस पूरे मामले की कुसमोल सहित भरगामा प्रखंड में जांच हो तो सैकड़ों नहीं हजारों की संख्या में ऐसे मामले मिलेंगे जिसे पूर्व से ही मकान बना हुआ है उसे भी रिश्वत लेकर आवास योजना का लाभ दिया है। सबसे आश्चर्य की बात तो यह है जो घूस दे देते हैं वह घर बनाए न बनाए उन्हें द्वितीय और तृतीय आवंटन मिल जाता है। इसके कई साक्ष्य मेरे पास है। इसका एकमात्र कारण धन उगाही है। पैसे के बल पर लोग योजनाएं खरीद रहे हैं। उन्होंने इस पूरे मामले में जिला प्रशासन से उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हुए आवास सहायक के विरुद्ध सख्त कार्यवाही करने का आग्रह किया है।
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