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अररिया: पंचायत सरकार भवन में कोई काम नहीं होता,लोगों को जाना पड़ता है भरगामा प्रखंड कार्यालय

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फोटो: कई बर्षों से बंद पड़ा मानुलहपट्टी पंचायत सरकार भवन।

बिहार न्यूज़ लाइव/ अररिया डेस्क: अंकित सिंह/भरगामा। प्रखंड के शंकरपुर,मानुलहपट्टी,खुटहा बैजनाथपुर में बने पंचायत सरकार भवन शोभा की वस्तु बनी हुई है। करीब दो करोड़ रुपए खर्च हो गए लेकिन पंचायतवासियों को लाभ नहीं मिल रहा है। हाल यह है कि भवन बने चार साल हो गए। उस पर काई जम गई। भवन के खिड़की-दरवाजे टूटने लगे। लेकिन अब भी बंद पड़ा पंचायत भवन के ताला का चाभी पंचायत सचिव व मुखिया अपने झोला से नही निकाल रहे हैं।

 

मालूम हो कि प्रखंड कार्यालयों से दवाब कम करने और लोगों को परेशानी से बचाने के लिए बिहार सरकार पंचायत का सारा कार्य पंचायत में हो,इसके लिए प्रत्येक पंचायत में पंचायत सरकार भवन बनाने का निर्णय लिया था। लोगों को इस भवन में ही आय,आवासीय,जाति,प्रमाण-पत्र के अलावे वृद्धावस्था,विधवा,दिव्यांगता एवं लक्ष्मीबाई पेंशन के लिए आवेदन जमा करना है। जमीन का रसीद कटाने अथवा दाखिल-खारिज के लिए ऑन लाइन आवेदन भी यहीं करना है। मनरेगा एवं कृषि संबंधित जितनी भी जानकारी या सलाह,इसी पंचायत भवन में बैठे पदाधिकारी एवं कर्मी से मिलना है।

छोटा मोटा काम के लिए भी भरगामा प्रखंड कार्यालय जाना पड़ता है

पंचायत के लोग ने बताया कि पंचायत सरकार भवन में कोई कर्मी से लेकर पदाधिकारी नहीं बैठते हैं। जिससे पंचायत के लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। हालांकि पंचायत भवन में आरटीपीएस काउंटर खोलना है वकायदा इसके लिए कार्यपालक सहायक भी पदस्थापित है। लेकिन पंचायत कार्यपालक सहायक भी अन्य कर्मियों की तरह इस नियम को ताक पर रखकर अपनी जगह पर रहते हैं। वहीं कार्यपालक सहायक के पंचायत सरकार भवन में नही बैठने के कारण ग्रामीणों को किसी भी तरह का प्रमाण पत्र बनाने,जमीन का लगान कटाने समेत अन्य पंचायत स्तरीय कार्यों के लिए प्रखंड सह अंचल कार्यालय जाना पड़ता है।

पंचायतवासी को लगाना पड़ता है प्रखंड कार्यालय का चक्कर

पंचायत भवन में कोई भी कार्य नहीं होने से लोगों को हर कार्य के लिए प्रखंड कार्यालय ही जाना मजबूरी है। जहां उन्हें आरटीपीएस काउंटर पर घंटों लाइन में खड़ा होना पडता है। जिससे समय और पैसे दोनों की बर्बादी होती है।

पंचायत भवन में नहीं बैठते हैं कर्मी

पंचायत सरकार भवन में कंप्यूटर डाटा ऑपरेटर,कार्यपालक सहायक,पीआरएस,राजस्व कर्मचारी,कृषि सलाहकार,जेएसएस,तकनीकी सहायक,मनरेगा जेई सहित अन्य कर्मियों आदि की प्रतिनियुक्ति है। इन कर्मियों को नियमित इस भवन में बैठना है। पंचायत भवन में बिजली या जेनरेटर की भी सुविधा उपलब्ध नहीं है।

 

ग्राणीण बबलु सिंह,विजय सिंह,मो.औरंगजेव,ब्रह्मदेव सिंह,शंकर ततमा,हलिमा खातुन सहित कई लोगों ने बताया कि सरकार पंचायत सरकार भवन बनवा तो लिए लेकिन आज तक यह भवन खुला भी नहीं न कोई पदाधिकारी बैठते हैं। वहीं बीडीओ ममता कुमारी ने बताया कि पंचायत कर्मी तथा पदाधिकारियों को पंचायत सरकार भवन में बैठने का सख्त हिदायत दिया गया है। कोई भी अधिकारी या कर्मी पंचायत सरकार भवन से गायब रहते हैं तो उसका स्पष्टीकरण निकाला जाएगा और कड़ी कार्रवाई भी की जाएगी।

 

 

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